कहानियाँ विभिन्न आयु वर्गों को विभिन्न रूपों में पसंद आती है। बच्चों को पसंद आने वाली चित्रों वाली पुस्तकों से लेकर, वयस्क कल्पना- साहित्य तक जिन्हें पढ़ने में बच्चे रुचि नहीं लेते। तथापि, हैरी पॉटर जैसी कुछ कहानियाँ हैं, जो बच्चों और वयस्कों, दोनों को अच्छी लगती हैं। उनमें वह शक्ति होती है जो आरंभ से अंत तक विभिन्न आयु वर्गों के पाठकों की रुचि बनाए रखती है। मुख्य रूप से आपको यह स्मरण रखने की आवश्यकता है, कि बच्चों की पुस्तकें वयस्क पाठकों को पसंद आनी चाहिए – एक, यह आपको एक व्यापक पाठक समूह देता है। दो, क्योंकि इससे पहले कि आपकी कहानी नियत पाठक समूह के पास पहुँचे, इसे वयस्कों के द्वारा पढ़ा जाएगा – एजेंट्स, संपादकों से ले कर बच्चों के माता-पिता तक। ऐसी कई चीजें हैं जो युवाओं और वृद्धों, दोनों को पसंद आती हैं, उनमें से कुछ अत्यंत महत्वपूर्ण का हमने संग्रह किया है।
1. उन्हें छोटा अनुभव नहीं कराइए
यदि आप विशेष रूप से वयस्क पाठकों के लिए लिख रहे हैं, तब आप नीचा दिखाने वाला व्यवहार नहीं करेंगे, या उपदेश देने और छोटा अनुभव कराने का उपक्रम नहीं करेंगे। आखिरकार आप उसी स्तर पर हैं। अल्प-वयस्क पाठकों के लिए लिखते हुए भी यही बात लागू होती है। बच्चे या किशोर अनुभवहीन हो सकते हैं, फिर भी, चीजों का अतिसरलीकरण केवल अधिक परिपक्व पाठकों को ही तेवर चढ़ाने के लिए बाध्य नहीं करेगा, बल्कि बच्चे भी आपकी कहानी नहीं पढ़ना चाहेंगे।
2. बच्चों का इंद्रजाल
इस तरह के व्यापक पाठकों की बात आती है तब अग्रणी होने का श्रेय बच्चों को दिया जाता है। जब कोई बच्चा किसी जटिल पहेली के समाधान का प्रयास करता है तब बच्चे और बड़े, दोनों आसानी से उसका समर्थन करेंगे और अल्प-वयस्क पाठक इस अभियान का आनंद लेंगे। इसका अर्थ है कि जहाँ आपकी कहानी के पात्र वयस्क, युवा-वयस्क और बच्चे हैं, ध्यान-केंद्रण, कहानी के केंद्र स्वयं बच्चे हैं, वहीं वयस्क प्रतिपक्षी, मित्र और शिक्षक के रूप में आते हैं।
3. दुनिया भी जादुई है
नहीं, इसका यह अर्थ नहीं है कि आपको हॉगवार्ट्स या नार्निया जैसी किसी जादुई दुनिया की आवश्यकता है। किसी बच्चे के जीवन पर परिप्रेक्ष्य के माध्यम से, और जो चीजें उस पर होती हैं उनसे दुनिया जादुई बन जाती है। वयस्क कभी-कभी अपने शैशव और किशोरावस्था के अनुभवों को भूल जाते हैं। यही वयस्कों को पसंद आता है, और वहीं बच्चे सरलतापूर्वक पात्रों के साथ जुड़ सकते हैं – क्योंकि वे दुनिया के प्रति उसी दृष्टिकोण का साझा करते हैं!
4. बहादुर पात्र
बच्चो के लिए रूपरेखित पुस्तकों में एक विशेष हास्य होता है, और यह सनकी भी हो सकता है। तब भी, इसका यह अर्थ नहीं है कि आपको वहीं रुकने की आवश्यकता है। हम जितनी कल्पना करते हैं, बच्चे उससे अधिक बहादुर होते हैं, अतः, वयस्कों के द्वारा उनकी दुनिया उलट-पलट किए जाने से डरिए नहीं, और उन खराब चीजों से अपने पात्रों की रक्षा नहीं कीजिए जो उन पर गुजर सकती हैं। संभव है कि उनके अभिभावक अत्याचारी हैं और बच्चों को मुक्त होने की आवश्यकता है, या हो सकता है कि वे खतरें में हैं और कोई ऐसा है जो उन्हें क्षति पहुँचाना चाहता है। यह जो भी हो, बच्चे उसका सामना करने के लिए पर्याप्त बहादुर और मजबूत हैं – कभी-कभी उनके जीवन में उपस्थित वयस्कों से भी अधिक।
5. संबंधों पर ध्यान-केंद्रण करें
जहाँ कई युवा-वयस्क, मध्यम श्रेणी और बच्चों के अभियान पुस्तकों में, माता-पिता या अभिभावक खो गए हैं, अन्यथा दृश्य से बाहर हैं, इसका यह अर्थ नहीं है कि आप उस संबंध की अनदेखी कर सकते हैं जो किसी बच्चे का उसके माता-पिता, शिक्षकों और मित्रों के साथ होता है। उनका भी बच्चों पर उतना ही बड़ा प्रभाव रहता है जितना उन चीजों का होता है जो उन पर बीतती हैं। उन संबंधों को दर्शाइए जो अल्पवयस्क पात्र बड़ों के साथ रखते हैं। हो सकता है कि वह वयस्क बच्चे को समझता नहीं है, या यह भी हो सकत है कि वे बच्चों को अपने सपनों को सार्थक करने में सहायता करते हैं। आपको यह दर्शाने की आवश्यकता है कि संबंध आरंभ में कैसा था, कहानी के साथ इसमें कैसे प्रगति होती है, और अंत में इसका स्वभाव कैसा रह जाता है।
6. किसी मनोरथ को सत्य कीजिए
बच्चों के सपने होते है, उनकी आशाएँ तथा इच्छाएँ होती हैं। और अधिकतर, उनके लिए शब्द “सुखांत” का अर्थ यही होता है। पूरी कहानी के दौरान वे मूल्यवान सीखें ले सकते हैं, परंतु अंत में, उनके चरम स्वपन को सत्य करते हुए उन्हें पुरस्कृत किया जाना चाहिए। क्योंकि जो कुछ भी उनके साथ हुआ था उसमें सभी चीजें अच्छी नहीं थी, उनकी इच्छा को फलीभूत बनाना उन खराब चीजों को संतुलित करता है और यह सुनिश्चित करता है कि भविष्य के लिए अधिक आशाओं और अधिक सपनों के साथ बच्चे बच्चे ही रहेंगे।
Image credit: seth capitulo on flickr and reproduced under Creative Commons 2.0[author] [author_image timthumb=’on’]https://writingtipsoasis.com/wp-content/uploads/2014/12/photo.jpg[/author_image] [author_info]Georgina Roy wants to live in a world filled with magic.
As a 22-year-old art student, she’s moonlighting as a writer and is content to fill notebooks and sketchbooks with magical creatures and amazing new worlds. When she is not at school, or scribbling away in a notebook, you can usually find her curled up, reading a good urban fantasy novel, or writing on her laptop, trying to create her own.
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